Auto parts industry को लोकलाइजेशन, प्रौद्योगिकी में निवेश पर ध्यान देन की जरूरत Auto parts industry needs to focus on localization, investment in technology
Highlights
- वाहन कलपुर्जा उद्योग के विकास को सुनिश्चित करने के लिए लोकलाइजेशन जरूरी
- उद्योग को गुणवत्ता में और सुधार करने और उसे कायम रखने पर भी ध्यान देना चाहिए
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कार्बन उत्सर्जन 2030 तक 45 प्रतिशत की कमी का लक्ष्य रखा
Auto parts industry को स्थानीयकरण बढ़ाने, विनिर्माण गुणवत्ता में सुधार और सतत विकास के लिए नई प्रौद्योगिकी में निवेश जारी रखने पर ध्यान देना चाहिए। मारुति सुजुकी के कार्यकारी अध्यक्ष केनिची आयुकावा ने बुधवार को वाहन कलपुर्जा विनिर्माताओं के संगठन एसीएमए के 62वें सत्र वार्षिक सत्र में कहा कि वाहन कलपुर्जा उद्योग के विकास को सुनिश्चित करने के लिए स्थानीयकरण जरूरी है। उन्होंने कहा, ‘‘हमें बहुत गहराई तक जाना होगा और जहां भी संभव हो, कच्चे माल समेत छोटे-छोटे से कलपुर्जों के स्थानीयकरण के तरीके खोजने होंगे।’’ उन्होंने कहा कि उद्योग को गुणवत्ता के उच्चस्तर में और सुधार करने और उसे कायम रखने पर भी ध्यान देना चाहिए।
कार्बन उत्सर्जन में 45 प्रतिशत की कमी का लक्ष्य
आयुकावा ने कहा,‘‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2070 तक शुद्ध शून्य कार्बन उत्सर्जन और 2030 तक इसमें 45 प्रतिशत की कमी का लक्ष्य रखा है। इन लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए शून्य कार्बन उत्सर्जन की हमारी यात्रा में उद्योग को प्रयास करना चाहिए और भविष्य की प्रौद्योगिकियों में निवेश करना चाहिए।’’ इसके अलावा एसीएमए के अध्यक्ष संजय कपूर ने इस कार्यक्रम में कहा कि यात्री और वाणिज्यिक वाहनों की बिक्री महामारी-पूर्व के स्तर पर लौट आई है। वहीं त्योहारी सीजन में दोपहिया वाहनों की बिक्री में तेजी आने की उम्मीद है।
नीति आयोग के सीईओ ने ईवी पर प्रकाश डाला
नीति आयोग के सीईओ परमेश्वरन अय्यर ने बुधवार को कहा कि देश में इलेक्ट्रिक मोबिलिटी बढ़ाने के लिए वित्त पोषण की भूमिका आने वाले दिनों में महत्वपूर्ण होने वाली है। उन्होंने इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) के वित्तपोषण में जोखिम को कम करने का भी आह्वान किया। एक कार्यक्रम में बोलते हुए, अय्यर ने ग्रीन मोबिलिटी के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि यह डीकाबोर्नाइजेशन में काफी मदद करने वाला है। उन्होंने आगे कहा कि ग्रामीण भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों की अधिक पहुंच की आवश्यकता है, क्योंकि वहां तेजी से शहरीकरण हो रहा है। अय्यर ने छोटे शहरों में इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने की भी मांग की।