Court refuses to stop competition probe against Amazon, Flipkart | अमेजन, फ्लिपकार्ट को कोर्ट ने दिया झटका; उनके खिलाफ प्रतिस्पर्धा जांच रोकने से इनकार
नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने सोमवार को ई- वाणिज्य कंपनियों अमेजन और फ्लिपकार्ट के खिलाफ प्रतिस्पर्धा कानून के कथित उल्लंघन की भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (सीसीआई) द्वारा प्रारंभिक जांच पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। शीर्ष अदालत ने कहा कि ऐसे बड़े संगठनों को जांच में सहयोग के लिए आगे आना चाहिए। मुख्य न्यायाधीश एन वी रमन की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय पीठ ने कहा कि जांच को चुनौती देना, आपराधिक कानून के तहत प्राथमिकी दर्ज करने से पहले नोटिस चाहने जैसा है।
इसके साथ ही पीठ ने ई-कॉमर्स कंपनियों को सीसीआई की जांच में सहयोग करने के लिए कहा। पीठ ने कर्नाटक उच्च न्यायालय के आदेश को चुनौती देने वाली अमेजन और फ्लिपकार्ट की अलग-अलग याचिकाओं पर विचार से इनकार कर दिया। कर्नाटक उच्च न्यायालय ने इन दोनों कंपनियों के खिलाफ प्रतिस्पर्धा कानून के कथित उल्लंघन की सीसीआई की जांच को रोकने से इनकार कर दिया था। दोनों ई-कॉमर्स कंपनियों ने इसके खिलाफ उच्चतम न्यायालय में अप़ील की थी। पीठ में न्यायामूर्ति विनीत सरन और न्यायामूर्ति सूर्यकांत भी शामिल हैं।
पीठ ने कहा, ‘‘हम उम्मीद करते हैं कि अमेजन और फ्लिपकार्ट जैसे बड़े संगठन जांच में सहयोग के लिए आगे आएंगे, और आप ऐसा नहीं चाहते हैं। आपको इसके लिये तैयार होना होगा और जांच की अनुमति देनी होगी।’’ सीसीआई ने दिल्ली व्यापार महासंघ की शिकायत पर जनवरी, 2020 में जांच का आदेश दिया था। महासंघ के सदस्यों में स्मार्टफोन तथा उसके संबंधित कलपुर्जों का कारोबार करने वाले व्यापारी शामिल हैं।
सीसीआई ने 13 जनवरी, 2020 को भारी छूट देने तथा अपने पसंदीदा विक्रेताओं के साथ गठजोड़ की शिकायतों को लेकर फ्लिपमार्ट और अमेजन के खिलाफ जांच का आदेश दिया था। उसके बाद इन कंपनियों ने जांच के आदेश को उच्च न्यायालय में चुनौती दी थी। फ्लिपकार्ट की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता ए एम सिंघवी द्वारा यह बताए जाने पर कि सीसीआई को जवाब देने का समय नौ अगस्त को ही खत्म हो रहा है, पीठ ने इस समयसीमा को चार सप्ताह के लिए बढ़ा दिया। हालांकि, इस पर सीसीआई का प्रतिनिधित्व कर रहे सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने आपत्ति जताई।
मेहता ने कहा कि इन फर्मों को एक सप्ताह का समय दिया जाना चाहिए, क्योंकि कोविड-19 के दौर में लोग ज्यादातर इन कंपनियों के माध्यम से ऑनलाइन खरीदारी कर रहे हैं। इससे पहले कर्नाटक उच्च न्यायालय ने 23 जुलाई को प्रतिस्पर्धा कानून के कथित उल्लंघन के लिए सीसीआई जांच के खिलाफ अमेजन-फ्लिपकार्ट की याचिका खारिज कर दी थी। उच्च न्यायालय ने कहा था कि यदि इन कंपनियों ने किसी तरह का उल्लंघन नहीं किया है, तो उन्हें जांच से भागने की जरूरत नहीं है।